स्मार्टफोन पर रास्ता या (भौगोलिक स्थिति) लोकेशन ढूंढ़ने के लिए अमेरिका के ग्लोबल पॉजिशनिंग सिस्टम (जीपीएस) की जगह पर अब भारतीय अंतरिक्ष अनुसंधान संगठन इसरो द्वारा विकसित ‘नाविक’ का इस्तेमाल किया जा सकेगा।
मोबाइल तथा अन्य दूरसंचार उपकरणों के लिए चिपसेट बनाने वाली अमेरिकी कंपनी क्वॉलकॉम ने भौगोलिक स्थिति तथा मापन के लिए इसरो के नेविगेशन विद इंडियन कॉन्सटेलेशन (नाविक) सिस्टम का परीक्षण पूरा कर लिया है। ‘नाविक’ इसरो द्वारा स्थापित उपग्रहों के तंत्र पर काम करता है जो भारतीय उपमहाद्वीप में जीपीएस के विकल्प के रूप में विकसित किया गया है।
‘नाविक’ के इस्तेमाल के लिए इसरो से प्रौद्योगिकी खरीदने वाली क्वालकॉम पहली बड़ी चिपसेट कंपनी है। इससे भारतीय उपमहाद्वीप में ‘नाविक’ के प्रसार, भौगोलिक स्थिति के मापन को बेहतर बनाने तथा ऑटोमोटिव और इंटरनेट ऑफ थिंग्स (आईओटी) से जुड़े समाधान ढूंढ़ने में मदद मिलेगी।
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