2 मई, 2020 को विशेषज्ञ मूल्यांकन समिति ने 922 करोड़ रुपये में नए संसद के प्रस्ताव को मंजूरी दी। सेंट्रल विस्टा कमेटी ने भी नई योजना को मंजूरी दे दी है। पेड़ों की कटाई और इससे संबंधित पर्यावरण संबंधी चिंताओं का मामला उच्चतम न्यायालय के समक्ष लंबित है। हालांकि, शीर्ष अदालत ने हाल ही में सेंट्रल विस्टा पुनर्विकास परियोजना पर रोक लगाने से इनकार कर दिया था। COVID-19 संकट के बीच केंद्रीय लोक निर्माण विभाग (CPWD) परियोजना का समर्थन कर रहा है। CPWD के अनुसार संसद का निर्माण 93 साल पहले किया गया था और एक नई इमारत का निर्माण अत्यंत महत्वपूर्ण है।
केंद्रीय विस्टा पुनर्विकास परियोजना क्या है
इस परियोजना का लक्ष्य त्रिकोणीय संसद भवन बनाना है। इसके तहत राष्ट्रपति भवन से इंडिया गेट तक 3 किलोमीटर लंबे राज पथ की मरमम्त की जाएगी।
सेंट्रल विस्टा क्या है
नई दिल्ली के सेंट्रल विस्टा में संसद भवन, राष्ट्रपति भवन, इंडिया गेट, नॉर्थ और साउथ ब्लॉक और नेशनल आर्काइव्स हैं। संसद भवन को लुटियन्स और बेकर द्वारा डिजाइन किया गया था। राष्ट्रपति भवन को एडविन लुटियन्स द्वारा डिजाइन किया गया था और सचिवालय में उत्तर और दक्षिण दोनों ब्लॉक शामिल हैं जिसे हर्बर्ट बेकर द्वारा डिजाइन किया गया था। कई इतिहासकार चिंतित हैं कि यह परियोजना ऐतिहासिक इमारतों को ध्वस्त कर देगी। यह योजना 2022 तक पूरी हो जाएगी। नई इमारतों में भूमिगत पार्किंग व्यवस्था होगी। साथ ही नए भवन में मेट्रो कनेक्टिविटी और अलग मेट्रो स्टेशन भी होंगे।